
10 जुलाई 2025: भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को यमन में मौत की सजा सुनाई गई है ।
केरल के पलक्कड़ जिले के कोले नगोडे़ की रहने वाली प्रिया को 2017 जुलाई में यमन के एक व्यक्ति की हत्या का दोषी ठहराया गया था । वह व्यक्ति प्रिया का बिजनेस पार्टनर था। यमन की अदालत ने 2020 में उसे मौत की सजा सुनाई थी।
उसके बाद देश की सर्वोच्च न्यायिक परिषद ने नवंबर 2023 में उसकी अपील खारिज कर दी थी । इस समय निमिषा प्रिया यमन की राजधानी सना की जेल में है।
रिहाई के क्या है रास्ते
यमन की कानूनी व्यवस्था इस प्रकार है कि यदि पीड़ित परिवार ब्लड मनी स्वीकार करने के लिए तैयार हो जाता है तो निमिषा को क्षमादान मिल सकता है।
क्या है ब्लड मनी
ब्लड मनी एक तरह का आर्थिक मुआवजा होता है ।जो दोषी की तरफ से पीड़ित परिवार को दिया जाता है। यमन में मौत की सजा का सामना कर रही भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को बचाने की कोशिश जारी है। ताजि रिपोर्ट्स के मुताबिक पीड़ित परिवार ने ब्लड मनी की धनराशि स्वीकार करने से मना कर लिया है।
रिपोर्ट्स के अनुसार निमिषा प्रिया के मामले में 8 करोड रुपए की पेशकश की गई है ।
इस पूरी धनराशि के साथ परिवार को शिक्षा मेडिकल समेत अन्य सहयोग देने का भी वादा किया गया है । लेकिन कहा जा रहा है कि पीड़ित परिवार ने सभी पेशकश ठुकरा दिया है।
निमिषा प्रिया को बचाने के सारे प्रयास किया जा रहे हैं लेकिन परिवार ने अब तक कुछ भी स्वीकार नहीं किया है।
अन्य क्या है परेशानियां
यमन में जारी संघर्ष में निमिषा प्रिया की मुश्किलें और बढ़ा दी हैं । यमन में सना और मुल्क के कई हिस्सों में होती विद्रोहियों का नियंत्रण है । जिसके चलते भारतीय अधिकारियों के प्रभाव को कम कर दिया गया है । निमिषा प्रिया यमन की राजधानी सना जेल में बंद है । और सना में इस वक्त ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों का नियंत्रण है।
निमिषा प्रिया की मां प्रेमा कुमारी , प्रिया के पति और 12 साल की उनकी बेटी भी यमन में है।
प्रिया की मां प्रेमा कुमारी अपनी बेटी की रिहाई सुनिश्चित करने के प्रयास कई बार यमन गई । बताया जा रहा है कि भारतीय पक्ष नें प्रिया की रिहाई ब्लड मनी देकर सुनिश्चित करने के विकल्प पर विचार किया था । किंतु परिवार ने ब्लड मनी लेने से इनकार कर दिया है।