
जेल प्रशासन पर लगाया हत्या का आरोप
ग्वालियर की केंद्रीय जेल में 2020 से सजा काट रहे मनोज दयाराम की जमानत पर रिहाई की रात संदिग्ध परिस्थितियों में मृत्यु हो गई। जेल प्रशासन ने बताया कि अचानक तबीयत खराब होने पर उसे अस्पताल भेजा गया था। मनोज के परिजनों ने आरोप लगाया है कि उसकी हत्या की गई है और उन्हें सूचना नहीं दी गई।
ग्वालियर में स्थित केंद्रीय जेल में एक कैदी की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। मनोज दयाराम नाम का यह कैदी पास्को और दुर्व्यवहार के मामले में सजा काट रहा था। उसकी जमानत पर रिहाई होने वाली थी, लेकिन रिहाई की रात ही उसकी मौत हो गई। परिजनों ने जेल प्रशासन पर हत्या का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि जेल में ही मनोज की हत्या की गई है।
यह घटना ग्वालियर की केंद्रीय जेल में हुई। वही मनोज दयाराम 2020 से जेल में बंद था। 26 मार्च को उसकी रिहाई होने वाली थी। इसके साथ ही जेलर विदित सरवैया ने बताया कि रिहाई के आदेश देर शाम आए थे। वही अगले दिन उसकी रिहाई होनी थी। पर 26 और 27 मार्च की रात को उसकी तबीयत बिगड़ गई थी। उसे हॉस्पिटल भेजा गया, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया गया। जेलर सरवैया ने कहा कि शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
मनोज के परिवार वालों का कहना है कि जब वे उसे लेने जेल पहुंचे, तो उनसे कहा गया कि वह नहा रहा है। थोड़ी देर बाद उन्हें बताया गया कि मनोज की तबीयत खराब हो गई है और उसे हॉस्पिटल भेजा गया है। वही बाद में उन्हें उसकी मौत की खबर मिली।
मनोज की बहन पूजा ने बताया कि जेल प्रशासन ने उन्हें बताया कि वह कुछ दिनों से बीमार था लेकिन उन्हें कोई सूचना नहीं दी गई। पूजा का बताया है कि उनके पास सभी के नंबर थे, फिर भी उन्हें नहीं बताया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि उनके भाई की जेल में हत्या की गई है। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें शव भी नहीं देखने दिया गया था।