
जांच में जुटा प्रशासन
एमपी के बुरहानपुर में खुदाई के दौरान रहस्यमयी चीजें मिली हैं। वही खुदाई में एक कमरा और गुप्त रास्ता भी मिला है। प्रशासन निर्माण कार्य पर रोक लगाकर जांच शुरू कर दी है। वहीं विशेषज्ञों का मानना है कि कई सारे रहस्यों से भी पर्दा उठ सकता है।
जिले के राजपुरा क्षेत्र में एक मकान की नींव खुदाई के दौरान रहस्यमयी प्राचीन संरचना सामने आई है, जो पूरे शहर में चर्चा का विषय बनी हुई है। खुदाई में एक कमरा और एक गुप्त मार्ग मिलने की बात कही जा रही है। प्रशासन ने मकान के निर्माण पर रोक लगाकर जांच शुरू कर दी है।
सरंचना मिलने पर लोगों के मन में सवाल उठने लगे हैं कि क्या यह कोई ऐतिहासिक धरोहर है या फिर महज एक पुराना अनाज भंडार है। हालांकि, प्लॉट मालिक आनंद भगत इसे 100 वर्ष पुराना अनाज संग्रहण कक्ष बता रहे हैं और इसे ध्वस्त करने की तैयारी में हैं। जब क्षेत्रीय पार्षद अजय बालापुरकर को इसकी जानकारी मिली, तो उन्होंने इसे पुरातत्वीय महत्व का धरोहर बताते हुए जांच की मांग की।
पार्षद का कहना है कि यदि इस स्थल की वैज्ञानिक तरीके से जांच करवाई जाए, इसके साथ ही तो यह इतिहास के कई रहस्यों से पर्दा उठा सकता है। स्थानीय लोगों में भी इस खोज को लेकर उत्सुकता बनी हुई है, कई लोगों का कहना है कि यह किसी प्राचीन मार्ग या ऐतिहासिक इमारत का हिस्सा हो सकता है, जिसका संबंध बुरहानपुर के गौरवशाली अतीत से जुड़ा हो सकता है।
इस पूरे मामले पर नगर निगम कमिश्नर संदीप श्रीवास्तव ने बयान जारी कर कहा, “हमें जानकारी मिली थी, इसके साथ ही जिसके बाद हमारी टीम ने मौके पर पहुंच कर निरीक्षण भी किया है और फिलहाल निर्माण कार्य पर रोक लगाते हुए नोटिस जारी कर दिया गया है। वही आगे की जांच जारी है।”
वहीं, खुदाई स्थल के मालिक आनंद भगत ने कहा, “मैंने राजपुरा क्षेत्र में एक जमीन खरीदी थी, जो सड़क से करीब 10 फीट ऊपर थी। जब जमीन को सड़क के स्तर पर लाने के लिए खुदाई शुरू की, तो यह रहस्यमयी कमरा मिला।” उन्होंने प्रशासन के सहयोग का आश्वासन देते हुए कहा कि यदि यह सच में कोई पुरातात्विक धरोहर है, तो वह पूरी तरह से जांच में सहयोग करने के लिए तैयार हैं।
जिला पुरातत्व संघ के सदस्य मनोज अग्रवाल ने बताया, “बुरहानपुर एक ऐतिहासिक शहर है और यहां वक्त वक्त पुरानी संरचनाएं सामने आती रहती हैं। प्रशासन को इसकी विस्तृत जांच करानी चाहिए, ताकि यदि यह कोई महत्वपूर्ण ऐतिहासिक धरोहर है, तो इसे संरक्षित किया जा सके।” उन्होंने यह भी कहा कि जो लोग इसे दबाने या नष्ट करने की कोशिश कर रहे हैं, उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।