
न्यायपालिका और जेल प्रशासन के लिए बड़ा सवाल
तिहाड़ जेल में एडवोकेट को चेकिंग के दौरान पेन ड्राइव और प्रतिबंधित ड्रग्स के साथ पकड़ा गया है। वही इसके साथ ही गिरफ्तार करने के बाद, पुलिस ने पाया की वह गरीब कैदियों को कानूनी सलाह देने के लिए आते थे। आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया और बाद में उसे जमानत मिल गई।
एशिया की सबसे सुरक्षित कही जाने वाली तिहाड़ जेल में कैदियों तक प्रतिबंधित सामान, ड्रग्स इत्यादि पहुंचाने का प्रयास लगातार किया जाता है। इसमें कभी सफलता मिल भी जाती है, लेकिन चेकिंग के दौरान पकड़े भी जाते हैं। ऐसा ही एक मामला तिहाड़ जेल नंबर-1 से सामने आया है। जिसमें कुछ दिन पहले एक एडवोकेट को चेकिंग के दौरान पकड़ा गया। जब गेट पर तमिलनाडु स्पेशल पुलिस फोर्स के जवान चेकिंग कर रहे थे, उस एडवोकेट से पहले एक पेन ड्राइव मिला। इसके बाद चेकिंग करने वाले जवानों ने उनसे सवाल जवाब करना शुरू कर दिया।
जेल सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, अपने आपको बचाने के लिए एडवोकेट ने TSP के जवानों को ही उल्टा-सीधा बोलना शुरू कर दिया था। गलती मानने की बजाय और रौब दिखाने लगे थे। जिसके बाद चेकिंग करने वाले जवान उनको चेकिंग एरिया में ले गए और बारीकी से फिजिकल तलाशी ली गई। जिसके बाद अलग-अलग तरह के प्रतिबंधित ड्रग्स इत्यादि बरामद किए गए। फिर जेल नंबर-1 के गेट पर तैनात सुरक्षाकर्मियों ने मामले की सूचना आला ऑफिसर को दी।
वहां जेल से फिर पश्चिमी जिला के हरि नगर थाना को सूचना दी गई। इसके साथ ही पुलिस की टीम जेल पहुंची और जिस एडवोकेट पर आरोप था, उनसे पूछताछ की गई। छानबीन के बाद इस मामले में आगे की कारवाई की गई। आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया और उसे गिरफ्तार किया गया। बरामदगी की मात्रा चूंकि काफी कम थी, इसलिए बाद में उस आरोपी एडवोकेट को थाना से जमानत मिल गई। पुलिस को पता चला कि वह गरीब कैदियों को कानूनी सलाह देने के लिए जेल में आने वाला एडवोकेट है। इसकी पुष्टि जेल और पुलिस अधिकारियों ने की है।