
28 जुलाई 2025: संसद में लोकसभा की कार्रवाई चल रही है। जिसमें बहस के दौरान विपक्ष ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के लिए हमलावर है।
ऑपरेशन सिंदूर पर विशेष चर्चा की शुरुआत रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने की ।
ऑपरेशन सिंदूर पर बहस के दौरान रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह:
उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर पर बहस के दौरान कहा कि ऑपरेशन सिंदूर , 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद ,दुश्मनों को सबक सिखाने के लिए किया गया था।
हमारे सशस्त्र बलों ने नौ आतंकी ठिकानों पर एक साथ हमला किया। जिसमें 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए।
उन्होंने कहा कि विपक्ष यह जानना चाहता है कि हमारे कितने विमान गिरे ।
इस पर उन्होंने जवाब दिया कि मुझे ऐसा लगता है कि उनका सवाल हमारे राष्ट्रीय भावनाओं का प्रतिनिधित्व नहीं करता ।बल्कि उनको यह पूछना चाहिए कि भारत ने आतंकवादियों के कितने ठिकानों को नष्ट किया। हमारे बहादुर सिपाहियों को कितना नुकसान हुआ।
क्या है ऑपरेशन सिंदूर!
22 अप्रैल को पहलगाम में पाकिस्तान ने जिस तरह पर्यटकों को धर्म पूछ कर मारा। इसका सटीक जवाब देने के लिए , आतंकी ठिकानों पर सटीक हमले किए और इस ऑपरेशन का नाम ऑपरेशन सिंदूर दिया ।इस हमले में जैशे-ए- मोहम्मद का गढ़ ,बहावलपुर , लश्कर-ए-तैयबा का अड्डा नष्ट हुआ।
रक्षा मंत्री ने बताया कि भारत अब पहले का भारत नहीं है। अब भारत आतंकवाद के खिलाफ सख्ती की बात करता है ।उन्होंने यह भी बताया कि हमें भगवान कृष्ण से सीखना चाहिए ,कि धर्म की रक्षा के लिए अंत में सुरक्षा सुदर्शन चक्र उठाना ही पड़ता है । दुष्ट जैसा व्यवहार करता है हमें भी वैसा ही व्यवहार करना चाहिए। 2006 में संसद हमला, 2008 का मुंबई हमला ,बहुत कुछ सहन किया है भारत ने । 2008 का मुंबई हमला लोगों ने अभी भूला नहीं है लोगों के जहन से गया नहीं है।
उस समय की जो तत्कालीन सरकार थी उस समय वह कदम नहीं उठाए गए जो उठाए जाने चाहिए। केंद्र में अब नरेंद्र मोदी की सरकार है और अब
अब हमने सुदर्शन चक्र उठा लिया है। और अब भारत आतंकवाद के खिलाफ खड़ा हो चुका है ।
रक्षा मंत्री ने यह भी बताया कि भारत की लड़ाई अब सिर्फ सीमा पर ही नहीं बल्कि आतंकवाद के खिलाफ एक उच्च स्तरीय समिति भी बनाई गई है। जिसे सभी राजनीतिक दल के प्रतिनिधि शामिल हैं ।यह समिति दुनिया भर के सभी मंचों पर जाकर भारत की बात रख रही है और आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक समर्थन को मजबूत कर रही है।